
यह वाक्य कांकेर जिले के भानूप्रतापपुर का है। इस वाक्ये के वक्त हमारे संवाददाता जावेद खान वहीं मौजूद थे और उनके हाथों में गलती से कैमरा भी था हुआ कुछ यूं भानूप्रतापपुर कालेज के समीप 5 खतरनाक इरादे वाले कुत्तों ने एक सूअर के बच्चे को अपने जबड़ो में जकड़ रखा था और सूअर के बच्चे को बस फाड़ कर खा जाने की तैयारी ही थी तभी अचानक बच्चे की पुकार सुन मां दौड़ी चली आईं मां की तेज हुंकार सुन कुत्तों के हौसले पस्त हो गए फिर क्या हुआ खतरनाक शिकारी भाग खड़े हुए।